चावल की कीमतें 30 फीसदी बढ़ीं, 30 रुपये वाला चावल 40 रुपये किलो  

मुंबई- गेहूं और इसका आटा पहले ही महंगा हो चुका है। अब बारी चावल की है। बाजार में पिछले दो महीने के दौरान चावल की कीमतों में करीब 30 फीसदी का इजाफा हो गया है। पहले जो बासमती चावल पहले 60 रुपये किलो मिलता था, उसकी कीमत बढ़ कर 80 रुपये किलो हो गई है।  

इसी तरह से 30 रुपये किलो मिलने वाला टुकड़ा बासमती भी 40 रुपये किलो से कम में नहीं मिल रहा है। बांगलादेश हमारे चावल का स्थाई ग्राहक नहीं है। चावल वहां का मुख्य खाना है। लेकिन वहां जब धान की फसल ठीक होती है तो भारत से चावल नहीं मंगाता। जब वहां धान की फसल खराब हो जाती है तो यहां से चावल मंगाया जाता है। इस साल वहां से चावल की डिमांड है। इसलिए बांगलादेश सरकार ने चावल पर आयात शुल्क भी घटा दिया है। इसलिए भारतीय बाजार में इसके दाम बढ़ गए हैं। 

दुनिया में चावल का सबसे उत्पादक देश चीन इस समय हमारे यहां से चावल का आयात कर रहा है। आयात भी कर रहा है तो टूटे चावल का। इस क्षेत्र के जानकार बता रहे हैं कि चीन इन चावलों को सीधे नहीं खाता है बल्कि इसे पीस कर इससे राइस प्रोडक्ट बनाता है। इसके साथ ही इन दिनों ईरान, इराक, और सउदी अरब से भी चावल की मांग निकली है।  

बंगलादेश जहां गैर बासमती चावल मंगाता है वहीं पश्चिम एशिया के देशों का मुख्य जोर बासमती चावल पर होता है। भारत में इस साल धान की बुवाई का रकबा घटा है। बीते 29 जुलाई तक के आंकड़े बताते हैं कि इस साल बिहार, उत्तर प्रदेश, झारखंड, पश्चिम बंगाल जैसे धान उत्पादक राज्यों में रकबा घटा है। तभी तो धान की कुल बुवाई का रकबा पिछले साल के मुकाबले 13.3 फीसदी घटी है।  

29 जुलाई तक पूर्वी एवं पूर्वोत्तर भारत के छह राज्यों में धान का रकबा पिछले साल के मुकाबले 37.70 लाख हैक्टेअर घटा था। यदि एक हैक्टेअर में औसत 2.6 टन उपज भी जोड़ा जाए तो धान की उपज में 100 लाख टन की कमी। 

अपने यहां वैसे तो लगभग सभी राज्यों में चावल खाया जाता है। लेकिन जिन राज्यों में चावल ज्यादा खाया जाता है, वहीं इसकी खेती भी ज्यादा होती है। इसके अपवाद पंजाब और हरियाणा हैं। उन राज्यों में मुख्य खाना तो रोटी है, लेकिन ज्यादा आमदनी के लिए वहां के किसान धान की खेती करते हैं। प्रमुख चावल उत्पादक राज्यों में पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, पंजाब, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़, ओडिशा, असम और हरियाणा हैं। 

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