HDFC बैंक की डिजिटल बैंकिंग में बार-बार गड़बड़ी से रिजर्व बैंक बढ़ा सकता है प्रतिबंध का समय
मुंबई– निजी सेक्टर के सबसे बड़े बैंक HDFC बैंक की डिजिटल बैंकिंग में गड़बड़ी रुकने का नाम नहीं ले रही है। पिछले 6 महीनों में ऐसा कई बार हो गया है। इस वजह से रिजर्व बैंक इस पर प्रतिबंध के मामले में और समय बढ़ा सकता है। एक महीने में यह दूसरी बार है जब बैंक की डिजिटल सेवा बाधित हुई है।
मंगलवार को एक बार फिर से अचानक बैंक की डिजिटल बैंकिंग में गड़बड़ी पाई गई। इसमें कुछ सेवाएं बाधित हो गईँ। जिसकी शिकायत सोशल मीडिया पर ग्राहकों ने की। हालांकि बैंक ने भी इस शिकायत का जवाब दिया और ग्राहकों के माफी मांगी। बैंक ने लिखा कि कुछ ग्राहक इंटरनेट बैंकिंग और मोबाइल बैंकिग ऐप का इस्तेमाल करने में परेशानी का सामना कर रहे हैं। हम इस समस्या का समाधान करने की कोशिश कर रहे हैं। साथ ही बैंक ने इस परेशानी के लिए खेद जताते हुए कहा है कि कुछ देर बाद फिर से कोशिश करें।
एक यूजर ने तंज मारते हुए लिखा कि अगर आप ये सीखना चाहें कि अधिक धैर्यवान कैसे बनें तो या तो भारतीय स्टेट बैंक (SBI) की ब्रांच बैंकिंग का इस्तेमाल कर लीजिए या फिर HDFC Bank Net Banking का इस्तेमाल कर लीजिए। इससे पहले ही पिछले महीने ही ग्राहक इसकी नेट बैंकिंग और ऐप सेवा को एक्सेस करने में फेल हो गए थे। कुछ ग्राहकों ने कहा कि इसकी UPI सेवा भी नहीं चल रही है। बैंक ने हालांकि इस तरह की किसी असुविधा के लिए ग्राहकों से माफी मांगी है।
इससे पहले भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने HDFC बैंक की सभी डिजिटल लॉन्चिंग को रोकने का आदेश नवंबर में दिया था। इसमें नए क्रेडिट कार्ड भी शामिल हैं। हालांकि, यह आदेश अस्थाई था, पर अभी तक यह लागू है। दो सालों में बैंक के लिए यह तीसरा बड़ा झटका लगा है। इसी मामले में रिजर्व बैंक ने 10 लाख रुपए का जुर्माना बैंक पर लगाया था।
आरबीआई ने कहा था कि बैंक की इंटरनेट बैंकिंग, मोबाइल बैंकिंग, पेमेंट यूटिलिटीज में लगातार कई रुकावटें आती रही हैं। यह दो साल से यह चल रहा है। 21 नवंबर को बैंक की इंटरनेट बैंकिंग और पेमेंट सिस्टम में गड़बड़ी पाई गई थी। यह गड़बड़ी प्राइमरी डेटा सेंटर में पावर फेल होने के कारण हुई थी।
HDFC बैंक अपने डिजिटल 2.0 को लॉन्च करने की तैयारी कर रहा है, जिसमें ढेर सारे डिजिटल चैनल लांच होंगे। ऐसे में RBI का आदेश बैंक के लिए बड़ा झटका है। इसके साथ ही अन्य सभी बिजनेस जनरेटिंग IT एप्लीकेशन को भी रोकने का आदेश दिया है। इसमें नए क्रेडिट कार्ड ग्राहकों को सोर्सिंग करने पर भी पाबंदी लगाई गई है।
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने बैंक के IT इंफ्रा के ऑडिट के लिए प्रोफेशनल ऑडिट कंपनी की नियुक्त कर दी है। ऐसा इसलिए क्योंकि हाल में बैंक का IT प्लेटफॉर्म कई बार बंद हो गया था। जानकारी के मुताबिक, RBI ने पहले ही IT इंफ्रास्ट्रक्चर पर एक रिपोर्ट मांगी थी। इसी रिपोर्ट के बाद बैंक के इंफ्रास्ट्रक्चर की जांच के लिए एक थर्ड पार्टी को नियुक्त किया गया है।
RBI इस रोक को तब हटाएगा, जब वह बैंक की सेवाओं से संतुष्ट होगा। रिजर्व हालांकि मंगलवार की घटना और इस महीने में दो बार ऐसी घटना होने से रिजर्व बैंक का संतुष्ट होना मुश्किल है। रिजर्व बैंक इस बात की जांच कर रहा है कि हालिया मामलों के बाद क्या बैंक ने अपने IT इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करके डिजिटल क्षमता बढ़ाई है।