वित्त वर्ष 2024-25 में 38.3 लाख करोड़ रुपये के निवेश की हुई है घोषणा
मुंबई- वित्त वर्ष 2024-25 में देशभर में 38.3 लाख करोड़ रुपये के निवेश की घोषणा हुई है। यह वित्त वर्ष 2016 के बाद दूसरा सबसे बड़ा निवेश है। बैंक ऑफ बड़ौदा की रिपोर्ट के अनुसार, इसमें से 69 फीसदी प्रोजेक्ट यानी 25.2 लाख करोड़ रुपये निजी क्षेत्र के और 31 फीसदी (11.1 लाख करोड़) सरकारी क्षेत्र के हैं। सरकारी क्षेत्रों में केंद्र, राज्य और स्थानीय निकाय शामिल हैं।
रिपोर्ट के अनुसार, निजी क्षेत्र में 62 फीसदी (22.6 लाख करोड़) निवेश घरेलू कंपनियों के हैं। बाकी 2.6 लाख करोड़ रुपये विदेशी कंपनियों के हैं। निजी कंपनियां जिन क्षेत्रों में सबसे ज्यादा प्रोजेक्ट की घोषणा की हैं उनमें रिन्यूएबल एनर्जी शीर्ष पर है। केंद्र का जोर सड़क, रिफाइनरी और शिपिंग प्रोजेक्ट है। राज्यों का जोर सड़क, शिक्षा, परिवहन और रेलवे पर है। रिपोर्ट के अनुसार, कुल प्रोजेक्ट में जो शीर्ष राज्य हैं उनमें ओडीशा, महाराष्ट्र और आंध्र प्रदेश का हिस्सा 37 फीसदी है। कर्नाटक, बिहार, राजस्थान, गुजरात और छत्तीसगढ़ की हिस्सेदारी 33 फीसदी है।
रिपोर्ट के अनुसार, पिछले वित्त वर्ष में सबसे ज्यादा प्रोजेक्ट की घोषणा इस साल जनवरी-मार्च में की गई जो 18.9 लाख करोड़ रुपये के थे। जबकि पहली तीन तिमाहियों में केवल 19.4 लाख करोड़ रुपये की परियोजनाएं घोषित की गई थीं। सरकार के कुल निवेश में केंद्र का हिस्सा 7.4 लाख करोड़ रुपये रहा है। राज्य और स्थानीय निकायों का 3.7 लाख करोड़ रुपये रहा।
सरकार के कुल निवेश में से 91 फीसदी हिस्सा पांच क्षेत्रों पर हुआ है। इनमें रिन्यूएबल इलेक्ट्रिसिटी, सड़क परिवहन, रिफाइनरी, परंपरागत इलेक्ट्रिसिटी और शिपिंग हैं। इलेक्ट्रिसिटी और शिपिंग में 6.8 लाख करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट शामिल हैं। बाकी अन्य क्षेत्रों में केमिकल, स्टील, रेलवे, खनिज, हाउसिंग, खाद और स्वास्थ्य सहित अन्य सेवाएं हैं।
राज्य सरकारों ने कुल निवेश का 67 फीसदी निवेश सड़क परिवहन में किया है। रिन्यूएबल इलेक्ट्रिसिटी का हिस्सा 6.7 फीसदी, रेलवे का 4.2 फीसदी और शिक्षा का हिस्सा 2.6 फीसदी रहा। घरेलू निजी कंपनियों का ज्यादा जोर रिन्यूएबल इलेक्ट्रिसिटी पर रहा है। 29.6 फीसदी निवेश इसी में है। केमिकल में 15.8 फीसदी, स्टील-पाइप में 11 फीसदी और अन्य इलेक्ट्रिॉनिक्स क्षे6 में 7 फीसदी निवेश है।