सोना 1,400 रुपए सस्ता होकर 72,000 पर आया, चांदी 2300 रुपये सस्ती
मुंबई- सोना और चांदी की चमक अब कम हो रही है। मंगलवार को सोना 1400 रुपये सस्ता होकरा 72,200 रुपये प्रति दस ग्राम पर पहुंच गया। चांदी भी 2300 रुपये सस्ती होकर 83000 रुपये पर आ गई।
सोना धीरे-धीरे 74,000 के स्तर की ओर बढ़ रहा है। 18 अप्रैल को कीमतें 73,477 रुपये तक पहुंच गई थीं। सोने को लगभग तीन गुना होने और यहां तक पहुंचने में 9 साल से ज्यादा का समय लगा। साल 2015 में कीमत 24,740 रुपये थी। मौजूदा स्तर से तीन गुना बढ़ोतरी सोने को 2 लाख रुपये प्रति 10 ग्राम के लेवल से ऊपर पहुंचा देगी। ऐसा कब तक हो सकता है? आइए, यहां जानते हैं।
इसके पहले 2006 में 8,250 रुपये से 9 साल से ज्यादा समय में सोने की कीमत तीन गुना हो गई थी। 1987 में सोने की कीमत 2,570 रुपये प्रति 10 ग्राम से तीन गुना होने में लगभग 19 साल लग गए थे। इस साइकिल से पहले पीली धातु को तिगुना होने में लगभग 8 साल और 6 साल का समय लगा था।
मौजूदा स्तर से तीन गुना बढ़ोतरी से सोना 2 लाख रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर से ऊपर पहुंच जाएगा। लेकिन, अहम सवाल जो हर निवेशक जानना चाहता है वह यह है कि इस बार कीमत तीन गुना होने में कितना समय लगेगा। एक्सपर्ट्स इसका अनुमान जाहिर करने लगे हैं। दरअसल, ऐसा माना जाता है कि सोने की कीमतें तब ज्यादा बढ़ती हैं जब दुनिया के किसी कोने में कोई बड़ा संघर्ष होता है या जब कोई अनिश्चितता होती है। लिहाजा, कीमतें इस बात से प्रभावित होंगी कि मौजूदा मसले कैसे सामने आते हैं।
प्रमुख वैश्विक परिवर्तन जैसे भू-राजनीतिक तनाव और आर्थिक संकट सोने की कीमतों को प्रभावित कर सकते हैं। इससे अपेक्षाकृत कम अवधि में कीमतों में तेजी से बढ़ोतरी हो सकती है। हाल के 5 सालों में रुपये में कमजोरी के साथ भू-राजनीतिक मसले और महामारी भी देखी गई है। इन सभी ने मिलकर सोने को करीब तीन साल में 40,000 रुपये से 70,000 रुपये तक पहुंचा दिया है। यह 75% बढ़ोतरी को दर्शाता है। 2014 में सोने की कीमत 28,000 रुपये थी और 2018 में यह बढ़कर 31,250 रुपये हो गई। यह 5 साल में केवल 12 फीसदी है।
एक्सपर्ट के मुताबिक, लगभग 9 साल में सोने की कीमतें तीन गुना हो गई हैं। ऐसा फिर से होने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है। हाल के रुझानों को देखते हुए यह संभावना है कि सोने की कीमतें अगले 7-12 साल में 2 लाख रुपये तक पहुंच जाएं। वहीं, कुछ जानकार तो यह भी मानते हैं कि कीमतों तीन गुना होने में सिर्फ 6 साल का वक्त लग सकता है। इसकी वजह बढ़ती अनिश्चितता है।