1000 रुपये से कम होटल रूम पर लगेगा जीएसटी, दही और लस्सी पर भी लगेगा टैक्स
मुंबई- अब एक हजार से कम किराये वाले होटल रूम पर जीएसटी देना होगा। साथ ही लस्सी, गेहूं के आटे और अन्य खुले सामानों पर भी टैक्स लगेगा। जीएसटी परिषद ने इसे मंजूरी दे दी है। उधर, विपक्ष शासित राज्यों ने कहा है कि जीएसटी में राजस्व के बंटवारे के नियम को या तो बदला जाए या फिर मिल रहे मुआवजे को पांच साल के लिए बढ़ाया जाए।
जीएसटी को एक जुलाई, 2017 को शुरू किया गया था। इसके तहत राज्यों को होने वाले घाटे के एवज में 5 साल तक मुआवजा देने का प्रावधान था। यह प्रावधान इसी महीने खत्म हो रहा है। राज्यों ने मुआवजे को लेकर सख्त रवैया अपनाया है। छत्तीसगढ़ के वित्तमंत्री त्रिभुवन देव सिंह ने कहा कि केंद्र और राज्यों के बीच जीएसटी से राजस्व को समान रूप से विभाजित करने के मौजूदा नियम को बदला जाए।
उन्होंने मांग की कि राज्यों को 70-80 फीसदी का बड़ा हिस्सा दिया जाना चाहिए। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण को लिखे पत्र में उन्होंने कहा कि उनके राज्य को जीएसटी व्यवस्था के तहत राजस्व का भारी घाटा हुआ है। देव ने पत्र में कहा कि हम 14 फीसदी संरक्षित राजस्व प्रावधान को जारी रखने का प्रस्ताव जीएसटी परिषद में पेश कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि अगर इसे जारी नहीं रखा जाता है तो सीजीएसटी और एसजीएसटी के लिए 50-50 फीसदी के नियम को एसजीएसटी 80-70 और सीजीएसटी 20-30 फीसदी में बदल दिया जाना चाहिए। अगर यह नहीं होता है तो मुआवजा व्यवस्था फिर अगले पांच साल तक बढ़ाई जाए। राज्यों के मुआवजे को पूरा करने के लिए केंद्र सरकार ने 2020-21 में 1.1 लाख करोड़ रुपये की उधारी ली, जबकि 2021-22 में 1.59 लाख करोड़ रुपये की उधारी ली थी।
इस समय जीएसटी से मिलने वाले राजस्व को केंद्र और राज्यों के बीच समान रूप से साझा किया जाता है। राज्यों ने सुप्रीम कोर्ट के हालिया फैसले का हवाला देते हुए कहा कि परिषद द्वारा किए गए फैसले बाध्यकारी नहीं हैं और राज्यों को उन पर टिके रहने की जरूरत नहीं है। कोर्ट के फैसले को कुछ राज्यों ने कराधान निर्धारित करने की शक्ति वाले राज्यों के रूप में देखा है। सभी राज्यों ने एक ही मांग की कि जीएसटी के मुआवजे को पांच साल तक बढ़ा दिया जाए।
कसीनो, ऑनलाइन गेम और घुड़सवारी जैसे मामलों में जीएसटी की दर का फैसला आज होगा। इन सभी पर 28 फीसदी जीएसटी लगाने की मांग की गई है। साथ ही प्रतिदिन एक हजार रुपये से कम किराये वाले होटल के रूम को 12 फीसदी जीएसटी के दायरे में लाने की मांग की गई है। यह अभी जीएसटी के दायरे से बाहर है। 5,000 रुपये से ज्यादा किराये वाले अस्पताल के रूम पर 5 फीसदी जीएसटी को मंजूरी
जीएसटी परिषद की पहले दिन की बैठक में मंत्रियों के समूह ने अंतरिम रिपोर्ट को मंजूरी दे दी। कर्नाटक के मुख्यमंत्री बी बोम्मई की अध्यक्षता वाले समूह ने 5,000 रुपये प्रतिदिन से ज्यादा चार्ज वाले हॉस्पिटल रूम के किराये पर 5 फीसदी जीएसटी लगाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी है।
समूह ने पोस्टकार्ड और 10 ग्राम वजन तक के लिफाफे को छोड़ डाकघर की सभी सेवाओं पर कर लगाने का प्रस्ताव दिया है। परिषद की 47वीं बैठक मंगलवार से चंडीगढ़ में शुरू हुई है जो बुधवार को खत्म होगी। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में यह बैठक हो रही है।

