मेहुल चौकसी ने लंदन की कोर्ट में बोला, भारतीय एजेंटों ने किया था अपहरण

मुंबई- भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी ने लंदन की एक अदालत में बड़ा दावा किया है। उसने कहा है कि 2021 में भारतीय एजेंटों ने उसका अपहरण कर लिया था। चोकसी ने यह भी आरोप लगाया कि उससे जबरदस्ती कबूल कराया गया कि उसने स्थानीय बैंकों को धोखा देने के लिए राजनीतिक विरोधियों के साथ मिलीभगत की थी।

चोकसी पर 1.5 अरब डॉलर की धोखाधड़ी का आरोप है। गीतांजलि जेम्स लिमिटेड के चेयरमैन मेहुल चोकसी ने भारत सरकार और अपहरण में शामिल पांच लोगों के खिलाफ लंदन की अदालत में मुकदमा दायर किया है।

भारत सरकार ने इन आरोपों को गलत बताया है। कहा है कि इस मामले की सुनवाई इंग्लैंड की अदालतों में नहीं होनी चाहिए। चोकसी फिलहाल बेल्जियम में है। वहां उसे भारत के संघीय जांचकर्ताओं के प्रत्यर्पण अनुरोध के बाद अप्रैल में गिरफ्तार किया गया था। सरकार के एक वकील ने अदालत में कहा कि चोकसी ने भारत से अपने प्रत्यर्पण को रोकने के लिए लंदन में ये आरोप लगाए हैं। साथ ही 3,39,690 डॉलर का दावा किया है।

मेहुल चोकसी की उम्र 66 साल है। उसका भतीजा नीरव मोदी 54 साल का है। दोनों 2018 में भारत से भाग गए थे। आरोप है कि दोनों ने पीएनबी में धोखाधड़ी की थी। नीरव मोदी और चोकसी हीरा उद्योग से जुड़े धोखाधड़ी के मामलों में सबसे बड़े आरोपी थे। भारत दुनिया के लगभग 90% हीरे काटता और पॉलिश करता है।

नीरव मोदी अभी भी ब्रिटेन की जेल में हैं। वह पहले ही अपना प्रत्यर्पण मामला हार चुका है। चोकसी एंटीगुआ में रहता था। नीरव मोदी और मेहुल चोकसी पर भारत में रिश्वतखोरी, धोखाधड़ी और मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े आरोप हैं। दोनों ने पहले धोखाधड़ी में शामिल होने से इनकार किया है।

चोकसी के वकीलों का कहना है कि मई 2021 में एंटीगुआ में उसके घर के पास से उसका अपहरण कर लिया गया था। चोकसी के वकील एडवर्ड फिट्जगेराल्ड ने अदालत में कहा, ‘उन्हें बुरी तरह पीटा गया, जिसमें मुक्का मारना, चेहरे पर टेजर गन से हमला करना, आंखों पर पट्टी बांधना, व्हीलचेयर से बांधना और मुंह बंद करना शामिल था। उन्हें बेहोश कर दिया गया।

चोकसी के वकीलों ने कहा कि जब उन्हें होश आया तो वह एक नाव पर थे। वहां उन्हें फिर से पीटा गया और धमकी दी गई कि अगर उन्होंने भारत लौटने के लिए सहमति नहीं दी तो उन्हें और उनके परिवार को मार दिया जाएगा।

भारत सरकार का कहना है कि चोकसी के आरोप झूठे हैं। चोकसी भारत से अपने प्रत्यर्पण को रोकने के लिए ये आरोप लगा रहे हैं। सरकार का यह भी कहना है कि इस मामले की सुनवाई ब्रिटेन में नहीं होनी चाहिए क्योंकि कथित अपराध वहां में नहीं हुए थे।

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