एमएससीआई ग्लोबल सूचकांक में भारत का वेटेज पहुंच गया रिकॉर्ड ऊंचाई पर
मुंबई- उभरते बाजारों के शेयरों पर नजर रखने वाले एमएससीआई ग्लोबल स्टैंडर्ड सूचकांक में भारत का भार रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गया है। इससे हमारे इक्विटी बाजारों में लगभग 3 अरब डॉलर (25,000 करोड़ रुपये) का निवेश आने की संभावना है। भारत ने प्रमुख एमएससीआई सूचकांक पर चीन के साथ अंतर को और कम कर दिया है।
नुवामा ने एक रिपोर्ट में मंगलवार को कहा, सूचकांक पर चीन का भार 24.8 फीसदी से घटकर 24.2 फीसदी हो जाएगा। भारत का भार 19.2 फीसदी से बढ़कर 19.8 फीसदी हो जाएगा। सूचकांक भार में परिवर्तन 30 अगस्त को बाजार बंद होने के बाद प्रभावी होंगे। नवंबर के अंत तक भारत का भार 20 फीसदी से अधिक हो सकता है।
रिपोर्ट के अनुसार, भारत के निजी क्षेत्र के बड़े बैंक और बेंचमार्क एनएसई निफ्टी 50 में सबसे भारी स्टॉक एचडीएफसी बैंक के भार में वृद्धि होगी। इससे 1.8 अरब डॉलर का संभावित निवेश होगा। घरेलू इक्विटी की वर्तमान गतिको देखते हुए, भारत का एमएससीआई सूचकांक पर वर्ष के अंत तक संभावित रूप से 22 फीसदी भार हो सकता है।
एयरटेल, कोल इंडिया, एंफेसिस के सूचकांक में भारांश में बढ़ोतरी होगी। मारुति सुजुकी, एलटीआईमाइंडट्री, अंबुजा सीमेंट्स, अदाणी एंटरप्राइजेज, यस बैंक और एसआरएफ के भारांश में कमी आएगी। एमएससीआई इंडिया स्मॉल-कैप इंडेक्स में करीब 25 स्टॉक जोड़े जाएंगे।