अदाणी के शेयरों में कम हुई गिरावट, 6 कंपनियों के शेयरों में आई तेजी
मुंबई- हिंडनबर्ग की रिपोर्ट का अदाणी समूह के शेयरों पर अब असर कम होता दिख रहा है। बुधवार को समूह की 10 सूचीबद्ध कंपनियों में से 6 के शेयरों में बढ़त रही जबकि केवल 4 में गिरावट रही।अदाणी इंटरप्राइजेज, अदाणी पोर्ट, अदाणी विल्मर, एसीसी सीमेंट, अंबुजा सीमेंट और एनडीटीवी के शेयरों मं बढ़त रही। गिरने वालों में अदाणी पावर, ट्रांसमिशन, ग्रीन एनर्जी और टोटल गैस रहे।
बुधवार को समूह के मालिक गौतम अदाणी अमीरों की सूची में एक स्थान और खिसककर 24वें पर पहुंच गए। कंपनी ने स्टॉक एक्सचेंज को एक पत्र में कहा है कि वित्त वर्ष 2023 अनुमानित रूप से उसका शुद्ध कर्ज 1.96 लाख करोड़ रुपये रह सकता है। सकल कर्ज 2.27 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान है।
पिछले 14 कारोबारी सत्रों में अदाणी समूह की कंपनियों के शेयरों में 75 फीसदी तक की गिरावट आई है। अदाणी इंटरप्राइजेज 48 फीसदी टूटा है, जबकि टोटल गैस 75 फीसदी, ग्रीन एनर्जी 71 फीसदी, ट्रांसमिशन 65 फीसदी, पावर 51 फीसदी, एनडीटीवी 30 फीसदी, विल्मर 30 फीसदी टूटे हैं। एसीसी सीमेंट के शेयर 20 फीसदी और अंबुजा के शेयर 32 फीसदी गिरे हैं।
मॉर्गन स्टेनली कैपिटल इंडेक्स (एमएससीआई) इस सप्ताह अपने ईएसजी और क्लाइमेट इंडेक्सों के लिए तिमाही समीक्षा के नतीजे जारी करेगा। हिंडनबर्ग के हमले के चलते अदाणी समूह की कंपनियों की 125 अरब डॉलर पूंजी घटने के बाद यह पहली समीक्षा होगी। यदि इससे अदाणी की किसी भी कंपनी की ईएसजी रेटिंग में ज्यादा गिरावट होती है तो उसमें फिर से बिकवाली शुरू हो सकती है।
बाजार पूंजीकरण के लिहाज से देखें तो सबसे अधिक नुकसान अदाणी टोटल गैस को हुआ है। इसका पूंजीकरण 3 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा घट गया है। ग्रीन एनर्जी की पूंजी 2 लाख करोड़ रुपये, ट्रांसमिशन की 1.88 लाख करोड़, इंटरप्राइजेज की 1.91 लाख करोड़ रुपये और पावर की 48 हजार करोड़ रुपये पूंजी घटी है। अंबुजा की पूंजी में 32 हजार करोड़, विल्मर की पूंजी में 23 हजार करोड़, पोर्ट की पूंजी में 42 हजार करोड़ और एसीसी की पूंजी में करीब 10 हजार करोड़ रुपये की गिरावट आई है।
पिछले साल सीमेंट कंपनियों एसीसी लिमिटेड और अंबुजा सीमेंट्स में हिस्सेदारी खरीदने के लिए समूह ने 50 करोड़ डॉलर का ब्रिज लोन लिया था। इसे समूह अब समय से पहले इसी माह चुकाना चाह रहा है। इस कर्ज की अवधि 6 माह की थी और कुल 5.25 अरब डॉलर के पैकेज का यह हिस्सा था। इस कर्ज को देने में बार्कलेज, डच बैंक और स्टैंडर्ड चार्टर्ड के अलावा कई सारे बैंक शामिल थे।
समूह ने कहा कि इसकी बैलेंस शीट बहुत मजबूत है और निरंतर व्यापार गति पर केंद्रित है। समूह के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीएफओ) जुगेशिंदर (रॉबी) सिंह ने कहा कि ग्रुप को अपने आंतरिक नियंत्रण, अनुपालन और कॉरपोरेट गवर्नेंस पर पूरा भरोसा है। कंपनियों के पास नकदी है और कर्ज चुकाने की क्षमता है। हमारे पास उद्योग-अग्रणी विकास क्षमताएं, मजबूत कॉर्पोरेट प्रशासन, सुरक्षित संपत्ति और मजबूत नकदी प्रवाह है।एक बार जब मौजूदा बाजार स्थिर हो जाएगा तो हम अपनी पूंजी बाजार रणनीति की समीक्षा करेंगे।
समूह ने फिक्स्ड इनकम निवेशकों के साथ मीटिंग के लिए बैंकरों की नियुक्ति की है। इनमें बीएनपी पारिबा, डीबीएस बैंक, बार्कलेज, डच बैंक, आईएनजी समूह, स्टैंडर्ड चार्टर्ड जैसे मर्चेंट बैंकर्स शामिल हैं। यह सभी बृहस्पतिवार और शुक्रवार को निवेशकों के साथ मीटिंग करेंगे।