अप्रैल तक रसोई गैस के दाम हो सकते हैं दोगुने
मुंबई- देश भर में लंबे समय समय पेट्रोल-डीजल के दाम स्थिर चल रहे हैं, लेकिन कयास लगाया जा रहा है कि विधान सभा चुनाव के बाद तेल के दाम बढ़ सकते हैं। इसके साथ ही अप्रैल 2022 तक रसोई गैस (LPG) के दाम में भी बढ़ोतरी होने की आशंका जताई जा रही है।
दुनियाभर में गैस की भारी किल्लत हो गई है। जिसका असर अप्रैल में भारत में देखा जा सकता है। जिससे इसकी कीमतें दोगुनी हो सकती हैं। कहा जा रहा है कि ग्लोबल लेवल पर गैस की किल्लत होने से CNG, PNG और बिजली की कीमतें बढ़ जाएंगी। इसके साथ ही वाहन चलाने के साथ फैक्टरियों में उत्पादन की लागत भी बढ़ सकती है।
सरकार के फर्टिलाइजर सब्सिडी बिल में भी इजाफा हो सकता है। कुल मिलाकर इन सबका असर आम उपभोक्ता पर ही पड़ने वाला है। दरअसल, रूस, यूरोप को गैस सप्लाई करने का एक बड़ा स्रोत है। ऐसे में यूक्रेन संकट के चलते इस पर असर पड़ सकता है। ग्लोबल इकोनॉमी कोरोना महामारी के प्रकोप से बाहर जरूर निकल रही है। लेकिन दुनियाभर में ऊर्जा की मांग दिनों दिन बढ़ती जा रही है। जिससे सप्लाई में कमी आ सकती है।
शायद यही वजह है कि गैस की कीमतों में इजाफा हो सकता है। ग्लोबल लेवल पर गैस की कमी का असर अप्रैल से दिखने लगेगा, जब सरकार नेचुरल गैस की घरेलू कीमतों में बदलाव करेगी। जानकारों का मानना है कि 2.9 डॉलर प्रति एमएमबीटीयू से बढ़ाकर 6 से 7 डॉलर किया जा सकता है।
रिलायंस इंडस्ट्रीज के मुताबिक, गहरे समुद्र से निकलने वाली गैस की कीमत 6.13 डॉलर से बढ़कर करीब 10 डॉलर हो जाएगी। कंपनी अगले महीने कुछ गैस की नीलामी करेगी। इसके लिए उसने फ्लोर प्राइज को क्रूड ऑयल से जोड़ा है, जो अभी 14 डॉलर प्रति एमएमबीटीयू है।
देश में घरेलू नेचुरल गैस की कीमतें हर साल अप्रैल और अक्टूबर में तय होती हैं। अप्रैल की कीमत जनवरी से दिसंबर 2021 की इंटरनेशनल कीमतों पर आधारित होगी। इंद्रप्रस्थ गैस लिमिटेड के घरेलू नेचुरल गैस की कीमत में एक डॉलर की तेजी पर CNG की कीमत 4.5 रुपए प्रति किलो बढ़ जाएगी। इसकी मतलब है कि सीएनजी की कीमत में 15 रुपये प्रति किलो तक इजाफा हो सकता है।