वित्तीय आजादी की आधारशीला: बचत की ताकत
मुंबई- वित्तीय आजादी सबसे बड़ी विलासिता है। बहुत लोग यह हासिल करना चाहते हैं। लेकिन इसके वास्तविक मायने क्या हैं? कोई यह कैसे हासिल कर सकता है? बेहद सामान्य बात है। वित्तीय आजादी एक वह दशा है जहां आपके पास मनमाफिक जीवन जीने के लिए पर्याप्त वित्तीय संसाधान हों। कुल मिलाकर इनका संबंध पर्याप्त धन और संसाधन होने से है जो आपको अपनी पसंद का जीवन जीने के साथ अपने लक्ष्य और सपनों को पूरा करने की आजादी देती हैं।
तेज रफ्तार से चल रही इस निवेश की दुनिया में आप असाानी से चमक धमक वाले शेयरों और जल्द अमीर बनने के लालच में फंस सकते हैं। लेकिन सच्चाई यह है कि वास्तविक वित्तीय आजादी की मजबूत आधारशिला इससे कहीं अधिक लेकिन बेहद मजबूत सिद्धांत से बनती है, वह है “बचत’
बचत प्रारंभ करने से पहले आपको इन कुछ अहम बातों पर विचार करना चाहिए:
बिलकुल स्पष्ट लक्ष्य रखें: शुरूआत में आप यह तय करें कि आपके लक्ष्य क्या हैं। मौजूदा हालात का आकल करें। मासिक लक्ष्य तय करें। नियमित अंतराल में अपनी तरक्की का मूल्यांकन करें।
दोनों में सीधा संबंध जाने: आप यह जान लें बचत की आदत के बगैर आपकी वित्तीय आजादी की यात्रा बेहद मुश्किल हो सकती है। दोनों के बीच अहम संबंध है जो जानना जरूरी है।
बचत नहीं तो निवेश नहीं
आप बचत की आदत को एक भव्य और विलासी इमारत की मजबूत आधारशीला ही समझें। इस आधारशीला का न होना बिना बिजली, पानी और सुरक्षा के इमारत खड़ी करने जैसा ही है जो अंतत: धाराशयी हो जाती है। बचत के मजबूत आधार के बगैर निवेश करना भी बिलकुल यही है। यह निवेश आपके लिए अवार्ड की जगह जोखिम लेकर आएगा। बचत आपको मार्केट में व्याप्त अस्थिरता और उतार-चढ़ाव के समय स्थायित्व प्रदान करती है। इससे आपको मार्केट में लंबी अवधि के निवेश लक्ष्य हासिल करने में मदद मिलती है।
निवेश नहीं तो रिटर्न नहीं
एक बार बचत की आदत पड़ जाए तो अगलग कदम है निवेश के माध्यम से अपने पैसे को काम पर लगाना। दरअसल, निवेश आपके पैसे का आपके लिए ओवरटाइम है। इसके जरिए यह पैसा निवेश के विभिन्न वित्तीय साधनो के माध्यम से आपका पैसा बढ़ाने और रिटर्न लाने का काम करता है। यह पहला संकेत है जो यह बात बताता है कि आपका पैसा बैंक खातें में निष्क्रिय पड़ने रहने की जगह आपके लिए कठिन परिश्रम कर रहा है। बिन निवेश आपकी दौलत गतिहीन बनी रहेगी। वह बढ़ती महंगाई के साथ कदमताल नहीं कर पाएगी यह बढ़ नहीं पाएगी।
रिटर्न नहीं तो पुनर्निवेश नहीं
हालांकि रिटर्न मिल जाने भर से यह सफर खत्म नहीं होता। अगर आप इस रिटर्न को जेब में डालकर यह यह मानकर बैठ जाएं कि वित्तीय यात्रा का यह अंतिम पड़ाव है तो आप दौलत बनाने की सबसे ताकतवर रणनीति गंवा देंगे जो पुनर्निवेश कहलाती है। रिटर्न के पुनर्निवेश से आशय है कमाए हुए पैसे को फिर से बाजार में डालना जो आपके लिए ज्यादा रिटर्न अर्जित कर सके। यह उपाय आपको अपनी वित्तीय यात्रा के अगले पड़ाव तक पहुंचाने में मदद करती है जो कहलाता है; चक्रवृद्धि या कंपाउडिंग।
पुनर्निवेश नहीं तो चक्रवृद्धि नहीं
चह वह पड़ाव है जहां जादू होता है। चक्रवृद्धि या कंपाउंडिंग को अच्छे मायने में दुनिया का आठवां अजूबा कहा जाता है। यह वह पड़ाव है जब आपके रिटर्न खुद अपने रिटर्न बनाने लगते हैं। यह है छोटी शुरुआत से बड़ा धन संचय का स्नो बॉल इफेक्ट। पुनर्निवेश के हर चक्र में आपका धन तेज रफ्तार से बढ़ता है। अंतत: एक बेहद छोटी शुरुआत से आपके लिए एक संतोषप्रद दौलत जमा हो जाती है। यह जान लें चक्रवृद्धि या कंपाउंडिंग के बिना आपकी दौलत फर्स्ट गियर पर चल रही गाड़ी की तरह जो अपनी पूरी क्षमता को कभी पहचान ही नहीं पाएगी।
चक्रवृद्धि या कंपाउंडिंग नहीं तो दौलत नहीं
कंपाउंडिंग या चक्रवृद्धि आपकी वित्तीय यात्रा को आगे बढ़ाने की प्रमुख चाबी है। यह आपकी बचत को केवल पैसे से एक दौलत कमाने वाली मशीन में तब्दील कर देती है। कंपाउंडिंग के बिना आपकी सबसे बेहतरीन बचत और निवेश आपको थोड़ी ही दूर ले जा पाएगी। कंपाउंडिंग के माध्यम से आपका धन खुद के बल पर बढ़ता है और आपके लिए सच्ची वित्तीय कामयाबी लेकर आता है।
दौलत नहीं आजादी नहीं
अंतत: हम अंतिम लक्ष्य तक पहुंच जाते हैं जो है वित्तीय आजादी। दौलत के मायने बैंक खाते में जमा बड़ा धन नहीं है। दरअसल, यह आपको अपनी शर्तों पर जैसे चाहो वैसा जीवन जीने की आजादी देता है। यह आजादी जल्दी रिटायर होने या दुनिया घूमने के रूप में या फिर मानसिक शांति के रूप में हो सकती है। दौलत आपको अपने मूल्य और इच्छाओं के अनुसार पसंद करने की आजादी देता है। बिन दौलत आजादी एक छल से ज्यादा कुछ नहीं।
मूल बात
बाजार के शोर, जटिल विश्लेषण और जोखिम भरे दावों के बीच यह जरूरी है कि आप मूल बातों के साथ शुरूआत करें। यह हैं, लगातार बचत करें और बुद्धिमता से निवेश करें। चक्रवृद्धि या कंपाउंडिंग की ताकत से “हेवी लिफ्टिंग’ करें। यह वित्तीय आजादी हासिल करने के रोडमेप की यह बेहद ताकतवर रणनीति है। यह यात्रा न केवल आपके लिए दौलत लेकर आती है, बल्कि आपको अपनी शर्तों पर जीवन जीने की आजादी देती है।
आज से ही प्रारंभ करें क्योंकि आपका भविष्य इसी से प्रारंभ होता है। बेशक वित्तीय आजादी की यात्रा बेहद लंबी है। लेकिन इसकी आधारशीला आपकी बचत है।
वित्तीय आजादी की आधारशीला: बचत की ताकत
दीपक जैन, प्रेसिडेंट एंड हेड ऑफ सेल्स एडलवाइस एमएफ