NSE को-लोकेशन मामले में सेबी ने 4 कंपनियों पर 5.20 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया
मुंबई– शेयर बाजार रेगुलेटर ने NSE को-लोकेशन के मामले में 4 कंपनियों पर 5.20 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया है। बुधवार को ही सेबी ने NSE , इसके एमडी और सीईओ पर 1.5 करोड़ रुपए की पेनल्टी इसी मामले में लगाई थी। बता दें कि अप्रैल 2019 में सेबी ने ओपीजी सिक्योरिटीज और इसके तीन डायरेक्टर्स को सिक्योरिटीज मार्केट में 5 साल तक कारोबार करने पर प्रतिबंध लगा दिया था। साथ ही गलत तरीके से कमाई गई 15 करोड़ रुपए की रकम को चुकाने का आदेश दिया था। यह आदेश भी एनएसई के को लोकेशन के ही मामले में था।
गुरुवार को सेबी ने 77 पेज का ऑर्डर जारी किया। इस ऑर्डर में इसने ओपीजी सिक्योरिटीज, संजय गुप्ता, संगीता गुप्ता और ओम प्रकाश गुप्ता पर 5 करोड़ रुपए की पेनल्टी लगाई है। जबकि अलग से ओपीजी सिक्योरिटीज और संजय गुप्ता पर 10-10 लाख रुपए की पेनल्टी लगाई है।
सेबी ने ऑर्डर में बताया कि इस मामले में कुछ लोगों ने कम लोड वाले सर्वर से कनेक्ट किया। इससे उनको तेजी से डाटा प्राप्त करने में मदद मिली। सेबी ने कहा कि ओपीजी सिक्योरिटीज ने एनएसई के सिस्टम का फायदा लिया। इसने नागभूषण भट्ट को अपनी कंपनी में लिया। नागभूषण ने पहले ओमनीज में काम किया था। ओमनीज कंपनी एनएसई की कंपनी है।
सेबी ने जांच में पाया कि ओपीजी हमेशा सर्वर पर सबसे पहले लॉग इन करती थी। उसे बेहतर हार्डवेयर की सेवा मिलती थी। यह भी पाया गया कि कुछ और ब्रोकरेज को भी प्रफरेंशियल एक्सेस इस दौरान दिया गया। सेबी ने कहा कि इस मामले में शिकायत मिलने के बाद उसने एनएसई को सलाह दी कि वह जांच करे।
सेबी ने कहा कि जांच में पता चला कि एनएसई के पास दो अलग-अलग कीमत वाले स्ट्रीम थे। इसमें एक ब्रॉडकास्ट और दूसरा एक अलग नेटवर्क था। इसमें से एक नेटवर्क पर पहले सूचना मिल जाती थी। सेबी ने 2010- से लेकर 2016 तक के आंकड़ों की जांच की। इसमें सर्वर से सभी तरह के डेटा लिए गए। सेबी ने पाया कि संजय गुप्ता और अमन कोकराडी ओपीजी में डायरेक्टर और डेवलपर्स थे। अमन कोकराडी संजय गुप्ता के रिलेटिव हैं।