अब सिगरेट, बीड़ी और गुटखा आदि बेचने के लिए भी लेना होगा लाइसेंस
मुंबई- अब सिगरेट, बीड़ी और गुटखा आदि बेचने के लिए लाइसेंस लेना होगा। राजस्थान के सीकर में नगर परिषद ने इसकी पहल की है। वहीं एजुकेशनल इंस्टीट्यूट के आसपास इन्हें बेचने और खरीदने पर पाबंदी होगी। नगर परिषद के बाकी क्षेत्र में भी तंबाकू प्रोडक्ट बेचने वाले दुकानदारों को नगर परिषद में पंजीकरण करवाने के लिए लाइसेंस लेना होगा। ऐसा नहीं करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी।
राजस्थान का सीकर तंबाकू उत्पाद बेचने के लिए लाइसेंस वितरण शुरू करने वाला राज्य का पहला शहर बन गया है। सीकर में अब तंबाकू उत्पाद बेचने के लिए लाइसेंस अनिवार्य है। नगर परिषद ने लाइसेंस फीस फाइनल कर दी है, पहला लाइसेंस दो दिन पहले जारी हुआ था। तंबाकू उत्पादों के थोक विक्रेता को सालाना 25,000 रुपये, सड़क किनारे विक्रेता (कियोस्क) को सालाना 2400 रुपये जबकि स्थायी दुकानों को लाइसेंस शुल्क के रूप में सालाना 4,800 रुपये देने होंगे।
अधिकारियों के मुताबिक, सीकर शिक्षा संस्थानों और कोचिंग सेंटरों का हब बन गया है। यहां पर बड़ी संख्या में बच्चे पढ़ाई करने आ रहे हैं। इसी वजह से यह कदम उठाया गया है। पहला लाइसेंस जारी किया गया है। शहर में कई स्थानों पर सिगरेट और तंबाकू बेचने पर पाबंदी लगाई गई है। हालांकि, जयपुर में 2021 में तंबाकू उत्पाद बेचने के लिए लाइसेंस अनिवार्य करने का ऐसा आदेश दिया गया था, लेकिन राज्य सरकार ने व्यापारी समुदाय की आपत्तियों का हवाला देते हुए नगर निगम द्वारा जारी आदेश को वापस लेने का आदेश जारी कर दिया था।
नगर परिषद ने लाइसेंस चाहने वाले आवेदकों की पात्रता भी तय कर दी है। वह भारत का निवासी होना चाहिए, उसकी आयु 18 वर्ष से कम नहीं होनी चाहिए। उसके पास आधार कार्ड होना चाहिए। अगर उसके पास सीकर के बाहर आधार कार्ड है, तो स्थानीय नगरपालिका परामर्शदाता को इसे सत्यापित करना होगा। उसकी दुकान शिक्षण संस्थान के 100 मीटर के दायरे में नहीं होनी चाहिए।