एक साल में सोने में एक लाख का निवेश बन गया 1.41 लाख रुपये से ज्यादा
मुंबई- नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के अनुसार, वित्त वर्ष 2025 में सोना (गोल्ड) सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाला परिसंपत्ति वर्ग बना, जिसने अमेरिकी डॉलर के लिहाज से 41 प्रतिशत और रुपए के लिहाज से 33 प्रतिशत का जबरदस्त रिटर्न दिया।
वैश्विक अनिश्चितताओं और निवेश के बदलते रुझानों वाले इस साल में सोने को लेकर सुरक्षित निवेश की अपील बढ़ी, जिससे यह भारत सहित दुनियाभर के निवेशकों की पहली पसंद बना। एनएसई की अप्रैल के लिए ‘मार्केट पल्स रिपोर्ट’ में बताया गया है कि निवेश मांग में 25 प्रतिशत की वृद्धि के कारण ग्लोबल गोल्ड डिमांड 15 साल के उच्चतम स्तर 4,974 टन पर पहुंच गई।
दुनिया भर के केंद्रीय बैंकों ने अपनी खरीदारी जारी रखी और लगातार तीसरे साल 1,000 टन से ज्यादा सोना खरीदा, जो 2010 और 2021 के बीच देखे गए वार्षिक औसत के दोगुना से भी ज्यादा है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने भी इस वैश्विक रुझान को दर्शाते हुए अपने विदेशी मुद्रा भंडार में सोने की हिस्सेदारी को 2014 के 6.7 प्रतिशत से बढ़ाकर 2024 में 11.4 प्रतिशत कर दिया।
वित्त वर्ष 2025 में सोने के बेहतर प्रदर्शन के बावजूद, 20 वर्षों की लंबी अवधि में, भारतीय इक्विटी बाजारों ने ज्यादा रिटर्न दिया है। निफ्टी का 13 प्रतिशत का मूल्य रिटर्न और 14.4 प्रतिशत का कुल रिटर्न उसी समय सीमा में सोने के 10.5 प्रतिशत रिटर्न से आगे निकल गया है।