मंदी के डर व लागत में कटौती से दुनियाभर में नौकरियों पर संकट 

एपल, ट्विटर, अमेजन व मेटा के बाद गूगल 10,000 की करेगी छंटनी 

मुंबई- लगातार बढ़ रही महंगाई के बीच वैश्विक मंदी की आशंका और लागत में कटौती की वजह से दुनियाभर में नौकरियों पर खतरा मंडरा रहा है। एपल, ट्विटर, अमेजन और मेटा समेत दिग्गज कंपनियां बड़ी संख्या में अपने कर्मचारियों को निकाल रही हैं। अब दिग्गज प्रौद्योगिकी कंपनी गूगल भी करीब 10,000 कर्मचारियों की छंटनी करने की योजना बना रही है। 

द इन्फॉर्मेशन की रिपोर्ट के मुताबिक, गूगल अपनी बिगड़ती वैश्विक वित्तीय स्थिति की वजह से करीब 6 फीसदी या 10,000 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल सकती है। कंपनी उन कर्मचारियों की पहचान कर रही है, जिनका प्रदर्शन बेहतर नहीं रहा है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि गूगल ने टीम मैनेजर्स से नई रैंकिंग एवं प्रदर्शन सुधार योजना के तहत कर्मचारियों का आकलन करने को कहा है।  

इस योजना के जरिये वह अगले साल की शुरुआत से उम्मीद से कम प्रदर्शन करने वाले कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखाएगी। इसके अलावा, मैनेजर्स को टीम के सदस्यों की रैंकिंग करने को कहा गया है। इसके आधार पर ही तय होगा कि सदस्यों को बोनस और शेयर दिया जाएगा या नहीं। हालांकि, गूगल की मूल कंपनी अल्फाबेट ने इस संबंध में अभी तक आधिकारिक पुष्टि नहीं की है। 

अल्फाबेट एवं गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई ने छंटनी को लेकर कुछ महीने ही संकेत दिया था। उन्होंने कहा था कि कंपनी को 20 फीसदी अधिक दक्ष होना चाहिए। कंपनी के रूप में गूगल का मानना है कि जब आपके पास पहले की तुलना में कम संसाधन होते हैं तो आपको काम करने के लिए सही चीजों को प्राथमिकता देनी चाहिए। ऐसे में यह देखना पड़ता है कि क्या आपके कर्मचारी वास्तव में उत्पादक हैं। 

दुनिया की जानी मानी टेक कंपनी एचपी इंक (हैवलेट पैकर्ड) 2024-25 तक वैश्विक स्तर पर 12 फीसदी यानी 6,000 कर्मचारियों की छंटनी करेगी। पर्सनल कंप्यूटर की कम होती मांग और लगातार घटते राजस्व को देखते हुए कंपनी ने यह फैसला लिया है। कंपनी के सीईओ एनरिक लोरेस ने कहा कि एचपी अपनी लागत को नियंत्रित करने के लिए छंटनी करेगी। इससे श्रम और गैर-श्रम लागत पर होने वाले खर्च में करीब एक अरब डॉलर की बचत होगी। 

इंडोनेशिया की सबसे बड़ी इंटरनेट कंपनी गोटो ने लागत कम करने और राजस्व में सुधार के प्रयासों का हवाला देते हुए 12 फीसदी या 1,300 कर्मचारियों को निकाल दिया है। टेकक्रंच के अनुसार, आर्थिक मंदी और बढ़ती ब्याज दरों के असर को नकारात्मक करने के लिए श्रमबल में कटौती करने के अपने फैसले में गोटो स्थानीय और वैश्विक कपनियों की कतार में शामिल हो गया है। 

मंदी की आशंका और आर्थिक गतिविधियों में सुस्ती की वजह से अमेरिका में भी कंपनियां बड़े स्तर पर छंटनी कर रही हैं। वहां अक्तूबर में 13 फीसदी ज्यादा छंटनी की गई यानी 33,843 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला गया। यह फरवरी, 2021 के बाद 20 महीने में सबसे बड़ी छंटनी है। निकाले गए सभी कर्मचारी अमेरिका के हैं। 

अमेजन : 10,000 कर्मचारियों को निकालने की योजना है। उपकरण विभाग के कुछ कर्मचारियों को निकाल दिया गया है। 

मेटा : 13 फीसदी यानी 11,000 से ज्यादा छंटनी कर सकती है। यह इस साल टेक कंपनियों के लिहाज से सबसे बड़ी छंटनी हो सकती है। 

इंटेल कॉर्प : कंपनी की कर्मचारियों की संख्या में कटौती कर 2023 तक 3 अरब डॉलर बचाने की योजना है। 

माइक्रोसॉफ्ट : इस सप्ताह 1,000 कर्मचारियों को निकाल चुकी है। 

ट्विटर : 7,500 कर्मचारियों को निकाल चुकी है। 

स्ट्राइप इंक : कर्मचारियों को मिले ईमेल के मुताबिक 7,000 को बाहर का रास्ता दिखा सकती है। 

फीलिप्स 66: इस साल 50 करोड़ डॉलर बचाने के लिए अब तक 1,100 से ज्यादा कर्मचारियों को निकाल चुकी है। 

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