कोरोना की दवा बेचकर बन गए ये 9 लोग अरबपति

मुंबई- महामारी के इस बुरे दौर में वैक्सीन ही एकमात्र सबसे बेहतर ऑप्शन है। ऐसे में इसकी डिमांड भी तेजी से बढ़ी। वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों ने इसका भरपूर लाभ लिया। नतीजा यह रहा कि वैक्सीन से होने वाली कमाई से दुनिया को 9 नए अरबपति मिल गए। 

खास बात यह है कि इनकी कुल संपत्ति से गरीब देशों में रहने वाले करीबन सभी लोगों को वैक्सीन लग सकता है। पिछले दिनों जारी एक रिपोर्ट में पीपल्स वैक्सीन अलायंस ने कहा कि इन नौ लोगों की संपत्ति 19.3 अरब डॉलर (1.41 लाख करोड़) बढ़ गई है। इस राशि से गरीब देशों को जरूरत से 1.3 गुना ज्यादा टीके मिल सकते हैं। अलायंस का यह बयान ऐसे समय में सामने आया है, जब भारत और दक्षिण अफ्रीका जैसे देश लगातार वैक्सीन से पेटेंट सुरक्षा हटाने की मांग कर रहे हैं। 

नई लिस्ट में सबसे ऊपर दवा कंपनी मॉडर्ना के CEO स्टीफन बैंसेल हैं। जिनकी कुल संपत्ति 4.3 अरब डॉलर है। इसके बाद बायोएनटेक के उगुर साहीन हैं, जो कंपनी के CEO और को-फाउंडर हैं। फोर्ब्स के मुताबिक इनकी कुल संपत्ति 4 अरब डॉलर की है। साथ ही चीनी कंपनी कैनसिनो बायोलॉजिक्स के तीन को- फाउंडर भी नए अरबपतियों की लिस्ट में शामिल हैं। 

भारत में सीरम इंस्टिट्यूट के फाउंडर सायरस पूनावाला और उनके बेटे अदार पूनावाला की संपत्ति तेजी से बढ़ी। कंपनी कोरोना की वैक्सीन कोविशील्ड बनाती है। कंपनी ने राज्यों के लिए कोरोना वैक्सीन की प्रति डोज 300 रुपए और प्राइवेट हॉस्पिटल्स के लिए 600 रुपए तय किया है। एक इंटरव्यू में अदार पूनावाला ने कहा था कि प्रति डोज कंपनी को 150 रुपए का प्रॉफिट हो रहा है। 

इस लिहाज से 50 करोड़ डोज पर 15 हजार करोड़ रुपए का मुनाफा हुआ है। यह फाइनेंशियल 2019-20 में कंपनी के रेवेन्यू से तीन गुना ज्यादा है। सायरस पूनावाला की संपत्ति 100% बढ़कर 16.2 अरब डॉलर हो गई है। जी-20 देशों का वैश्विक स्वास्थ्य सम्मेलन को देखते हुए अलायंस का बयान महत्वपूर्ण है, क्योंकि इनमें से कई देश वैक्सीन को पेटेंट अधिकारों से मुक्त करने के विरोधी हैं।   

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