म्युचुअल फंड की कई स्कीम्स का 80% तक रिटर्न
मुंबई- शेयर बाजार लगातार नई ऊंचाई पर है। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) का सेंसेक्स 47 हजार के करीब है। जहां निवेशकों ने शेयर बाजार में मार्च के निचले स्तर से 80% से ज्यादा का फायदा कमाया, वहीं दूसरी ओर म्यूचुअल फंड की इक्विटी स्कीम से इन्होंने नवंबर महीने में पैसे निकाले हैं। हालांकि इसमें भी कई स्कीम्स रही हैं जिन्होंने मार्च के निचले स्तर से 80% से ज्यादा का फायदा दी हैं।
एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स इन इंडिया (AMFI) के आंकड़ों के मुताबिक, म्यूचुअल फंड के इक्विटी सेगमेंट से निवेशकों ने नवंबर में 12 हजार 917 करोड़ रुपए निकाल लिए हैं। इसी के साथ म्यूचुअल फंड का असेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) 30 लाख करोड़ रुपए पर पहुंच गया है। यह इसका नया स्तर है। अक्टूबर में यह 28.23 लाख करोड़ रुपए था। यह इसलिए हुआ क्योंकि डेट में लगातार निवेश आ रहा है। इक्विटी म्यूचुअल फंड से लगातार पांच महीनों से निवेशक पैसे निकाल रहे हैं। हालांकि इसके ठीक उलट डेट म्यूचुअल फंड में वे भारी निवेश कर रहे हैं। नवंबर में निवेशकों ने कुल 44 हजार 984 करोड़ रुपए डेट में लगाए हैं। जबकि अक्टूबर में एक लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का निवेश किया था।
सभी सेगमेंट में निवेश बढ़ा
आंकड़ों के मुताबिक म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री में नवंबर महीने में कुल 27 हजार 914 करोड़ रुपए का निवेश किया गया है। जबकि अक्टूबर में कुल 98 हजार 576 करोड़ रुपए निवेशकों ने लगाए थे। आंकड़ों के मुताबिक, इक्विटी और इक्विटी से संबंधित ओपन एंडेड स्कीम्स से नवंबर मे 12 हजार 917 करोड रुपए निकाले गए जबकि अक्टूबर में 2 हजार 725 करोड़ रुपए निकाला गया था। नवंबर में सभी इक्विटी स्कीम से पैसे निकाले गए हैं। सितंबर में इक्विटी स्कीम से 734 करोड़ रुपए, अगस्त में 4 हजार करोड़ रुपए और जुलाई में 2,480 करोड़ रुपए निकाले गए थे।
शेयर बाजार 80% बढ़ा
बता दें कि मार्च में शेयर बाजार 25,981 के निचले स्तर पर पहुंच गया था। तब से अब तक यह 80% के करीब बढ़ चुका है। ऐसे में उस समय किया गया निवेश आज काफी बढ़ गया है। यही कारण है कि निवेशक अब म्यूचुअल फंड से पैसे निकालने में लगे हैं। चार साल बाद पहली बार इक्विटी से इसी साल जुलाई में पहली बार निवेशकों ने इक्विटी स्कीम से पैसे निकाले हैं।
आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल म्यूचुअल फंड के स्मॉल कैप के फंड मैनेजर हरीश बिहानी और मिड कैप के फंड मैनेजर प्रकाश गोयल कहते हैं कि मिडकैप पोर्टफोलियो उस पोजीशन पर है जहां से इस सेक्टर का फायदा मिल सकता है। जब कोविड इंफेक्शन की दर कम होगी या वैक्सीन उपलब्ध होगी, तब यह और फायदा दे सकता है। स्मॉल कैप बेंचमार्क में रैली जरूर दिखी है पर अभी भी इसमें तमाम ऐसे नाम हैं जो बॉटम में हैं और फायदा दे सकते हैं।
ढेर सारे स्मॉल कैप तेजी से बाहर हैं
उनके मुताबिक अभी भी ढेर सारे स्मॉल कैप ऐसे हैं जो बाजार की हालिया रैली में शामिल नहीं हुए हैं। जबकि अगले एक से तीन सालों में वे एक औसत स्तर पर ऊपर जा सकते हैं। यहां तक कि अगर साइक्लिकल नजरिए से भी देखें तो ढेर सारी कंपनियों के शेयर इस समय अच्छी कीमत पर उपलब्ध हैं। निवेशकों को ऐसे निवेश के लिए एसआईपी का रास्ता अपनाना चाहिए।
अब मिड और स्मॉल की रफ्तार होगी
स्मॉल कैप और मिड कैप तेजी पकड़ेंगे। ऐसे में निवेशक चाहें तो स्मॉल और मिड कैप फंडों के जरिए इस सेक्टर का फायदा ले सकते हैं। म्यूचुअल फंड के जरिए इक्विटी में निवेश करना हमेशा जोखिम को कम करता है। खासकर तब जब एसआईपी का रास्ता अपनाया जाए। आंकड़े बताते हैं कि 23 मार्च 2020 से 14 दिसंबर 2020 तक के समय में ICICI प्रूडेंशियल मिड कैप ने 83.98% का फायदा दिया है। देश के सबसे बड़े फंड हाउस SBI मैग्नम मिड कैप ने इसी अवधि में 81% का रिटर्न निवेशकों को दिया है।
एसआईपी में अच्छी बढ़त
सिप (SIP) की बात करें तो अक्टूबर में कुल SIP 3 करोड़ 37 लाख 26 हजार 609 रही है। इसका योगदान 7,799 करोड़ रुपए रहा है। जबकि नवंबर में SIP की संख्या 3 करोड़ 40 लाख 66 हजार 147 रही और इसका योगदान 7,302 करोड़ रुपए रही है। यानी मासिक स्तर पर 3.39 लाख SIP के खाते बढ़े हैं। कुल AUM इसी दौरान 3.42 लाख करोड़ रुपए से बढ़कर 3.78 लाख करोड़ रुपए हो गया है।